चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई को जोड़ें वास्तविक जीवन से

चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई  को जोड़ें वास्तविक जीवन से

इस बार हम लेकर आये हैं दिलचस्प चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई  को जोड़ें वास्तविक जीवन से। बच्चों को शिक्षक, डॉक्टर, वकील,और पुलिस की नक़ल करने में बड़ा मज़ा आता है।  कितना अच्छा  हो कि बच्चों की इन्हीं आदतों का फायदा उठाकर हम उन्हें कक्षा में रोल प्ले के माध्यम से पढ़ाएं। यही तो नयी शिक्षा नीति भी कहती है। अगर हम कक्षा में पढाई को जोड़ें वास्तविक जीवन से तो पढ़ने में मज़ा भी आएगा और चीज़ें आसानी से समझ में भी आएँगी। तो शुरू करते हैं चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई  को जोड़ें वास्तविक जीवन से।आइये, एक नज़र डालते हैं रोल प्ले के क्या हैं फायदे और यह मुख्यतः कितने प्रकार के होते हैं।

रोल प्ले से होने वाले फायदे

  • रोल प्ले आपके छात्रों के विषय में रुचि विकसित करने का एक शानदार तरीका है।
  • यह कम समय में विशाल पाठ्यक्रम को कवर करने में भी मदद करता है।
  • रोल प्ले की सबसे अच्छी बात यह है कि प्रत्येक छात्र इसमें भाग लेता है।
  • यह कक्षा को संलग्न करता है और बच्चों को उत्तरदायी बनाता है।
  • रोल प्ले वास्तविक जीवन स्थितियों का अनुकरण करते हैं।

बस अपने छात्रों को वास्तविक जीवन स्थितियों से जोड़ें।

अंततः यह वही है जो वे वास्तविक जीवन में करते आये हैं या फिर भविष्य में करेंगे।

रोल प्ले के प्रकार

रोल प्ले दो प्रकार के हो सकते हैं ।

लिखित (स्क्रिप्टेड) और  अलिखित (अन-स्क्रिप्टेड)।

अपने छात्रों को संवाद लिखने और प्रदर्शित करने के लिए प्रोत्साहित करें।

इस तरह से स्क्रिप्टेड रोल प्ले गतिविधियाँ सहायक हो सकती हैं।

अगर शिक्षक चाहें तो वो भी बच्चों को लिखित स्क्रिप्ट दे सकते हैं

लेकिन, इससे शिक्षकों का कार्य भार बढ़ जाएगा।

दूसरा तरीका यह है कि उन्हें वास्तविक जीवन की स्थिति दी जाए और उन्हें बोलने के लिए कहा जाए।

यह तत्काल है।

इससे शिक्षक को बच्चे के मन में विषय के पूर्व ज्ञान को जानने में भी मदद मिलेगी।

आप अपनी पाठ योजना में “चार  रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढाई को जोड़ें वास्तविक जीवन से” भी शामिल कर सकते हैं।

चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई को जोड़ें वास्तविक जीवन से

चार  रोल प्ले गतिविधियां

 रोल प्ले गतिविधियां – पढाई को जोड़ें वास्तविक जीवन से


1. वृक्ष और बालक के बीच संवाद :


उद्देश्य: प्रकृति के महत्व को समझना।

 वृक्ष: गुड मॉर्निंग मेरे दोस्त, आप कैसे हैं।

बालक: गुड मॉर्निंग। मैं ठीक हूं लेकिन आज वास्तव में बहुत ज़्यादा गर्मी है।

वृक्ष: क्या आप जानते हैं कि इतनी गर्मी क्यों है?

बालक: हाँ, क्योंकि यह गर्मी का मौसम है।

वृक्ष: जब मैं छोटा था तब गर्मियों में इतनी गर्मी नहीं होती थी । इसकी वजह प्रदूषण और पेड़ों की कटाई है।

बालक: ओहो , शायद इसी वजह से मेरा गला जाम, चेहरा जला हुआ और बड़ी ज़ोरों की भूख भी लग रही है।

वृक्ष: गला जाम, चेहरा जला हुआ और भूख लगी है, क्यों?

बालक: प्रदूषण की वजह से गला जाम है, तापमान के कारण चेहरा जल रहा है और भोजन न करने के कारण भूख लगी है।

वृक्ष: प्लीज, एक बात कहूँ,  बुरा मत मानना, लेकिन यह इसलिए है क्योंकि मैं तुम लोगों से बदला ले रहा हूं।

बालक: मुझसे बदला, लेकिन क्यों? मैने क्या किया । मैं तुम्हारा घनिष्ट मित्र हूँ।

वृक्ष: नहीं, इंसान मेरा सबसे बड़ा दुश्मन है। उन्होंने मेरे सभी दोस्तों और रिश्तेदारों को मार डाला है। मैं तुम्हारी बस्ती में अकेला बचा हूँ।

बालक: अरे नहीं, आप ऐसा नहीं कर सकते। यह ठीक नहीं है।

वृक्ष: बहुत जल्द, तुम देखोगे  कि तुम्हारी  कॉलोनी में पानी नहीं होगा। लोगों को कष्ट होगा।

बालक लेकिन क्यों? तुम इतने निर्दयी कैसे हो सकते हो? मैं आपका दोस्त नहीं बनना चाहता, अलविदा

वृक्ष: जरा ठहरो।मुझसे नाराज़ क्यों होते हो? मैं जिम्मेदार नहीं हूं। इसके लिए आप लोग ही जिम्मेदार हो।

क्योंकि आपलोग पेड़ों को काट रहे हो ,कम दूरी के लिए भी वाहन का इस्तेमाल करते हो और प्रकृति का सम्मान भी नहीं करते हो।  आज नहीं तो कल, ये दिन तो देखना ही पड़ता न।

बालक रोना शुरू करता है।

वृक्ष: अब रोओ मत प्लीज। रोना इसका समाधान नहीं है। 

जैसा कि आप मेरे दोस्त हैं, मैं आपको एक सुझाव देना चाहता हूं।

अपने सभी दोस्तों को वृक्षारोपण करने के लिए कहो।

छोटी दूरी के लिए साइकिल या पैदल चलने को कहो और वर्षा के जल को ज़मीन के अंदर तो जाने दिया करो। 

प्रकृति का सम्मान करना सीख जाओ,   

कुछ दिनों में सब ठीक हो जाएगा।

बालक मैं अपने सभी दोस्तों और रिश्तेदारों को इस रविवार से ही ऐसा करने के लिए कहूंगा।

क्या  फिर हम दोस्त बने रह सकते हैं?

वृक्ष: अवश्य। क्यों नहीं। धुप में क्यों खड़े हो ,मेरी छाया में आ जाओ। लो मेरे पेड़ के मीठे-मीठे फल खाओ, तुम्हे भूख लगी है न।

हमेशा याद रखो “यदि तुमलोग प्रकृति को परेशान करोगे, तो प्रकृति भी तुम्हे परेशान करेगी।”

2. माँ द्वारा अपने दो बच्चों की तुलना: (रूपक)

उद्देश्य: तांबे और एल्यूमीनियम के बीच अंतर को समझना।

माँ: मेरे दो बेटे  हैं।

 बड़े  बेटे का नाम ताम्बा है और छोटे वाले का एल्युमीनियम।

मुझे अपने बड़े बेटे तांबे के खिलाफ कोई शिकायत नहीं है।

हालांकि मेरा तांबा  गोरा  नहीं है, लेकिन  फिर भी उसे  एक बहुत ही अनूठा रंग मिला है।

 वह सोने (गोल्ड) की तरह चमकता है। बहुत काम का है। 

आप बिजली के तार, बर्तन, सिक्के आदि बना सकते हैं।

यहां तक ​​कि अगर उच्च (करंट) बिजली प्रवाह इसके माध्यम से बहता है, तो यह आसानी से सहन कर सकता है।

बड़ी-बड़ी कंपनी तो तांबे के लिए उच्च कीमत देने के लिए तैयार हैं।

लेकिन, दूसरी ओर, मेरा छोटा बेटा एल्युमिनियम  बेचारा ताम्बे के मुकाबले बचपन से ही कमज़ोर है। 

मैं इसके वजन को लेकर बहुत चिंतित हूं।

वह बहुत कमजोर और हल्का है।

नहीं नहीं ऐसा नहीं है कि वो किसी काम का नहीं है

वह भी सब कुछ  कर सकता है जो मेरI बड़I बेटI तांबI कर सकतI है।

आप बर्तन, बिजली के तार, सिक्के आदि  इससे भी बना सकते हैं।

पर बेचारा, यह उच्च वोल्टेज (करंट) बिजली प्रवाह को बर्दाश्त नहीं कर सकता है। इसमें सहनशीलता कम है।

पर पता है इसका वजन हल्का होने के कारण इससे हवाई जहाज बनाए जाते हैं।

तांबे में परिपक्वता है इसलिए वह महंगा और मूल्यवान है।

एल्युमीनियम तुलनात्मक रूप से सस्ता है।

दोनों में बहुत अंतर है पर दोनों अपनी अपनी जगह सही है। 

अब वे दोनों बड़े हो गए हैं और विभिन्न स्थानों पर काम कर रहे हैं।

मेरे बड़ा बेटा ताम्बा अक्सर आपको राजस्थान के खेत्री या फिर मध्य प्रदेश के बालाघाट खदान में मिल जाएगा।

मगर छोटा बेटा एल्युमीनियम को तो उड़ीसा ही पसंद है।

आज, मेरे दोनों बच्चे अच्छी तरह से सेटल हैं और अच्छा कर रहे हैं।

मुझे उन पर गर्व महसूस होता है।

3. गंगा नदी का UPSC / IAS साक्षात्कार

उद्देश्य: नदी प्रदूषण के बारे में जानना।

(गंगा नदी से इंटरव्यू में पूछे गए प्रश्न और गंगा द्वारा दिया गया जवाब)

प्रश्न:  अपने बारे मेँ हमें कुछ बताइये ?

 उत्तर: मैं मिस गंगा हूं। मेरा घर हिमालय की चोटी गंगोत्री में है। मेरी आयु 50 मिलियन वर्ष है और मेरी कुल लंबाई 2525 किलोमीटर है।

2. आप IAS अधिकारी क्यों बनना चाहती हैं?

मैं अपने देश से बहुत प्यार करती हूं।

मैं विभिन्न स्तरों पर देश की सेवा करने के लिए आईएएस अधिकारी बनना चाहती हूं, वंचितों के कल्याण और देश के विकास के लिए काम करना चाहती हूँ।

3. मुझे अपने किसी भी दो सकारात्मक और नकारात्मक शक्तियों के बारे में बताएं।

मेरी दो सकारात्मक ताकतें हैं:

मैं दुनिया के सबसे उपजाऊ मैदानों में से एक हूं।

मेरा तट  (बेसिन) बहुत उपजाऊ है और कृषि के लिए उपयुक्त है।

मेरी दो कमजोरियाँ (नकारात्मक) हैं:

मैं दुनिया की पांचवी सबसे प्रदूषित नदी हूं।

हर साल मुझमे बाढ़ आती है और जान-माल की भारी क्षति होती है।

4. वर्षों में, बेसिन के भीतर तेजी से जनसंख्या वृद्धि और औद्योगीकरण और शहरीकरण की घातीय वृद्धि ने नदी को विभिन्न प्रकार के क्षरण के अधीन कर दिया है। दूसरे शब्दों में, कई लोगों ने आपका शोषण किया है। यदि आपको किसी से बदला लेने का मौका दिया जाता है, तो क्या आप उनसे बदला लेंगी या उन्हें माफ़ कर देंगी ?

मेरे अनुसार, मैं क्षमा के महत्व पर जोर देती हूं क्योंकि मुझे लगता है कि बदला काम नहीं करता है।

धरती पर आने का मेरा उद्देश्य लोगों को बचाना और उनकी मदद करना और उनके जीवन को बेहतर बनाना था।

अपने जीवन में इस तरह की स्थितियों के साथ, मैं कर्म के सिद्धांत पर विश्वास करती हूँ।  जो जैसा कर्म करेगा उसे फल भी उसी अनुसार मिलेगा। 

5. यदि आप उत्तर प्रदेश या बिहार में तैनात हैं, तो आप जल प्रदूषण को कैसे कम करेंगी?

सबसे पहले मैं जागरूकता पैदा करना चाहूंगी और लोगों को शुद्ध नदी जल के महत्व को समझने की कोशिश करूंगी।

लेकिन उसी समय मैं यह सुनिश्चित करूंगी कि

i) मेरे ऊपर जहरीले रसायन नहीं फेंके जाएँ ।

ii) मैं किसानों को जैविक खेती करने के लिए प्रोत्साहित करूंगी ।

iii) उद्योगपतियों से अनुरोध करूंगी कि वे औद्योगिक कचरे न डालें।

iv) चिकित्सा और मानव अपशिष्ट का उचित तरीके से उपचार और निपटान करने का प्रयास करूंगी।

v) नालों में फिल्टर का उपयोग करने और हर गांव में वर्षा जल संचयन को बढ़ावा देंने का प्रयास करूंगी।

मुझे यकीन है कि लोग मुझे समझेंगे और सहयोग करेंगे।

6. हमें अपनी उपलब्धियों के बारे में कुछ बताइए।

i) मेरे किनारों पर कई सभ्यताएँ विकसित हुई हैं।

ii) मैं खाना पकाने, स्नान, मछली पकड़ने, घरेलू काम, कृषि और उद्योगों के लिए लोगों को ताजा पानी उपलब्ध करा रही  हूं।

iii) मैंने लाखों लोगों को पोषक तत्वों से भरपूर जलोढ़ मिट्टी प्रदान की है।

iv) कई लोगों को मैंने अपने जल से औषधीय लाभ प्रदान करने की कोशिश की है।

v) अपने इन्हीं प्रयासों की वजह से मुझे 2008 में भारत की राष्ट्रीय नदी घोषित किया गया है।

ओके मिस गंगा, आपने बहुत अच्छा प्रदर्शन किया और कई कठिन परिस्थितियों को धैर्यपूर्वक संभाला है। साथ ही, आपने सभी सवालों के जवाब बहुत ईमानदारी से दिए हैं। आपने यह साबित कर दिया है कि  आप अद्वितीय हैं? हम आपको आपके सुन्दर भविष्य के लिए शुभकामनाएँ देते हैं। आपका बहुत बहुत धन्यवाद।

4. आप की अदालत में प्लास्टिक पर मुकदमा 

उद्देश्य: यह समझने के लिए कि प्लास्टिक पर्यावरण को कैसे नुकसान पहुंचाता है?

रोल प्ले - प्लास्टिक पर मुकदमा 

             रोल प्ले – प्लास्टिक पर मुकदमा 

वकील: फेस-बुक, ट्विटर और अन्य सोशल मीडिया के माध्यम से भारी मांग पर, आज हमने अदालत में प्लास्टिक को आमंत्रित किया है।

प्लास्टिक जी, शो में आपका स्वागत है। अगर माननीय न्यायाधीश अनुमति दें तो मैं  आगे की कार्यवाही शुरू करना चाहूंगा।

जज: अनुमति है, कार्यवाही शुरू की जाए ।

वकील: आप पर पहला आरोप यह है कि आप “नॉन -बायोडिग्रेडेबल है”।

प्लास्टिक: मैं स्वीकार करता हूं कि मैं नॉन-बायोडिग्रेडेबल हूं मगर नॉन-बायोडिग्रेडेबल चीज़ों को 3 R – REDUCE (कम इस्तेमाल करना), REUSE अर्थात फिर से इस्तेमाल करना और RECYCLE (फिर से नया बना लेना) के साथ आसानी से उपयोग किया जा सकता है।  इस प्रकार मैं आपके दोबारा काम भी तो आ सकता हूँ। अब आप ही बताइये,क्या नॉन-बायोडिग्रेडेबल होना गुनाह है ?

वकील: आप पर दूसरा आरोप यह है कि “आप जलाय जाने पर जहरीले धुएं का उत्पादन करते हैं।”

प्लास्टिक: सिर्फ मैं ही क्यों, जहाँ तक मैं समझता हूँ कि अगर आप  किसी भी चीज़ को जलाते हैं तो वो ज़हरीली गैस का ही उत्पादन करती है।  पर जैसा कि मैंने कहा कि मैं RECYCLE हो सकता हूँ, तो फिर आप ही मुझे बताएं कि लोग मुझे जलाते ही क्यों हैं ? दोष जलाने वाले का है या मेरा है?

वकील: अगला आरोप आप पर यह है कि “आप नालियों को चोक करके पर्यावरण को नुकसान पहुँचाते हैं।”

प्लास्टिक: मेरी खासियत यह है कि मैं पानी को रोकता हूँ। यह बात आपलोगों को भी भली-भाँती पता है। ये जानते हुए भी अगर पढ़े लिखे लोग मुझे नाली में फेकेंगे, तो नाली तो जाम होगा ही। मैं तो नहीं जाता नाले में, आप ही लोग मुझे लेकर जाते हैं, तो आप ही बताइये कि इसमें मेरी क्या गलती है?

वकील: आप हमारी मिट्टी और जमीन को बर्बाद कर रहे हैं। जलीय जानवर प्लास्टिक के टुकड़ों को भोजन समझ कर ग्रहण कर लेते है जिससे उनकी मृत्यु हो जाती है। आप एक बीमारी की तरह तेज़ी से फ़ैल रहे है। इस पर आपका क्या कहना है?

प्लास्टिक:  अगर आप मेरा सही इस्तेमाल करते हैं, तो मैं बहुत मददगार हो सकता हूं। लेकिन, लोग मुझे बाजार में, रेलवे प्लेटफॉर्म पर, सड़क पर या पानी में फेकेंगे तो मैं बहुत खतरनाक हो सकता हूँ। इतनी समझ और जागरूकता तो लोगों में होनी चाहिए कि मुझे यहां-वहां न फेंके। कचरा फैलाएंगे तो बीमारी तो फैलेगी ही। 

वकील: सरकार प्लास्टिक पर प्रतिबंध लगाने की योजना बना रही है और अन्य विकल्पों की तलाश कर रही है, इसपर आप क्या कहना चाहेंगे?

प्लास्टिक: मेरे जन्म से पहले भी अन्य विकल्प मौजूद थे।अगर उन विकल्पों से आपका काम चल रहा था तो फिर मुझे बनाया ही क्यों गया ? आज मैं हर किसी के काम आ रहा हूँ और हर घर में मौजूद हूँ। लोग मेरे आदि हो चुके हैं।अगर सरकार मुझ पर प्रतिबंध लगाने जा रही है, तो सरकार खुद मुश्किल में पड़ जाएगी।

वकील: आप नई पीढ़ी को क्या संदेश देना चाहेंगे?

प्लास्टिक: मैं नयी पीढ़ी से सिर्फ इतना ही कहना चाहूंगा कि मेरा इस्तेमाल सही ढंग से करें, मुझे यहां-वहां  न फेंके, मैं हल्का होने के साथ-साथ सस्ता भी हूँ। अगर आप लम्बे समय तक मेरा लाभ लेना चाहते हैं तो मेरा सदुपयोग करें। 

वकील: बहुत-बहुत धन्यवाद। अब मैं माननीय न्यायाधीश से अनुरोध करूंगा कि वो अपना फैसला सुनाएं। 

जज: सभी पक्षों और दलीलों को सुनने के बाद अदालत इस नतीजे पे पहुँची है कि हालाँकि पल्स्टिक नॉन-बायोडिग्रेडेबल है एवं जलने पर पर्यावरण को नुक्सान पहुँचाती है मगर इस बार से इंकार नहीं किया जा सकता कि अगर इसका इस्तेमाल सही ढंग से किया जाए तो यह अत्यधिक उपयोगी भी साबित हो सकती है।

सरकार प्लास्टिक के उपयोग को कम कर सकती है लेकिन वैकल्पिक व्यवस्था (substitute) किए बिना प्लास्टिक पर पूरी तरह से प्रतिबंध नहीं लगा सकती।

अदालत प्लास्टिक का दुरूपयोग करनेवाले और इसे इधर-उधर फेंक कर गंदगी फैलाने वालों को दोषी करार देती है और प्लास्टिक को बा-इज़्ज़त बरी करती है।

चार रोल प्ले गतिविधियां जो कक्षा में पढ़ाई  को जोड़ें वास्तविक जीवन से

निष्कर्ष: 

कक्षा में रोल प्ले गतिविधियों के मुख्य लाभ:

  • संचार और भाषा कौशल विकसित करता है।
  • बच्चों को आउट ऑफ बॉक्स सोचने और वास्तविक जीवन स्थितियों का एहसास करने की अनुमति देता है।
  • सामाजिक कौशल विकसित करता है क्योंकि बच्चे सहयोग करना सीखते हैं।
  • बच्चों को अन्वेषण, चर्चा, बहस और विश्लेषण करने की अनुमति देता है।

क्या आपको लगता है कि रोल प्ले वास्तव में मस्तिष्क को उत्तेजित करता है और बच्चों को सक्रिय शिक्षार्थी बनाता है?

उपरोक्त चार गतिविधियों में से, आपको कौन सी गतिविधि सबसे ज्यादा पसंद आयी? नीचे के कमेंट बॉक्स में लिखकर हमें ज़रूर बताएं। अगर आपके पास कोई इससे भी अच्छा सुझाव हो तो हमारे साथ साझा करें। 

इसी लेख को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें Best Role Play Activities To Improve Communication Skills

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